मुंबई में भारी बारिश: जनजीवन प्रभावित
मुंबई में बारिश का कहर एक बार फिर से आम जनजीवन को अस्त-व्यस्त कर दिया है। पिछले 12 घंटों में मुंबई और इसके उपनगरों में 100 मिमी से अधिक बारिश दर्ज की गई है, जिसके चलते शहर के कई हिस्सों में जलभराव हो गया। रविवार सुबह 8 बजे से रात 8 बजे तक मुंबई के द्वीप शहर ने 101 मिमी बारिश दर्ज की, जबकि पूर्वी और पश्चिमी उपनगरों में क्रमशः 121 मिमी और 113 मिमी बारिश हुई।
इस अत्यधिक बारिश ने मुंबई में यात्रा को भी प्रभावित किया। दादर और माटुंगा स्टेशनों के बीच जलजमाव के कारण स्थानीय ट्रेन सेवाएं अस्थायी रूप से प्रभावित हो गईं। मानसून के तीव्र झटकों के कारण 36 उड़ानें रद्द करनी पड़ीं और 15 उड़ानों को निकटतम हवाई अड्डों, विशेष रूप से अहमदाबाद की ओर डायवर्ट करना पड़ा।
रेल और हवाई सेवा में बाधाएं
दो बार उड़ानों पर रोक लगानी पड़ी। पहली बार 12:12 बजे से आठ मिनट के लिए और फिर दोपहर 1 बजे से 1:15 बजे तक। इसके साथ ही, लोकल ट्रेन सेवाएं भी 15 से 20 मिनट की देरी से चलीं, खासतौर पर हार्बर लाइन पर मानखुर्द, पनवेल और कुर्ला स्टेशनों के पास जलभराव के कारण।
मध्य रेलवे की सेवाएं, विशेषकर दादर और माटुंगा स्टेशनों के बीच, प्रभावित रहीं और जलभराव ने दादर पर ऊपर और नीचे दोनों लाइनों को प्रभावित किया। हालांकि, बारिश की तीव्रता कम होने के बाद लोकल ट्रेन सेवाएं बहाल हो गईं।
नागरिकों की सुरक्षा के लिए अलर्ट
मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने अधिकारियों को भारी बारिश को लेकर सतर्क रहने का आग्रह किया है। उन्होंने राज्य आपदा प्रतिक्रिया बल, स्थानीय प्रशासन, नागरिक निकायों और पुलिस को निर्देश दिया है कि वे भारतीय मौसम विज्ञान विभाग से नियमित अपडेट लें और नागरिकों को राहत प्रदान करने के लिए आवश्यक योजनाएं बनाएं।
नवी मुंबई में भी इसी दौरान 83.38 मिमी बारिश दर्ज की गई, जिसके कारण कई क्षेत्रों जैसे वाशी, नेरुल और सांपदा में जलभराव हुआ। 60 पिकनिक मनाने वालों को बेलापुर इलाके की एक पहाड़ी पर तेज बहाव के चलते फंसे हुए लोगों को बचाया गया।
सुबह की चेतावनी और तैयारी
मुंबई के विभिन्न हिस्सों में जलभराव के कारण कई ट्रैफिक सबवे बंद कर दिए गए थे। एंडheri सबवे, खर सबवे, और महाराष्ट्र नगर सबवे में जलभराव था, जिससे वाहन चालकों को वैकल्पिक मार्गों का उपयोग करना पड़ा। मिटी नदी का जलस्तर भी बढ़कर 2.26 मीटर हो गया, जो कि 2.7 मीटर की चिंताजनक सीमा से नीचे था।
भारी बारिश के बावजूद, नागरिक प्रशासन और आपदा प्रबंधन दल तत्पर हैं। स्थानीय प्रशासन ने जमीन पर मौजूद दलों को महत्वपूर्ण निर्देश दिए हैं, ताकि वे तुरंत आपात स्थितियों में कार्रवाई कर सकें और किसी भी प्रकार की अनहोनी को रोका जा सके।
आगे की चुनौतियां और समाधान
मुंबई में मानसून के कारण जनजीवन पर असर हर वर्ष देखा जाता है। ऐसे समय में लोगों को अपने घरों में सुरक्षित रहने और जब तक जरूरी न हो, बाहरी यात्रा से बचने की सलाह दी जाती है। प्रशासन और नागरिक दोनों को मिलकर काम करना होगा ताकि इस आपदा से निपटा जा सके और जनजीवन को जल्द से जल्द सामान्य बनाया जा सके।
इस समय जरूरी है कि नागरिक भी सतर्क रहें और प्रशासन की सलाह का पालन करें। टीवी, रेडियो और सोशल मीडिया के माध्यम से नवीनतम अपडेट प्राप्त करें और किसी भी प्रकार की अफवाहों से बचें। समय रहते जानकारी मिलना और सतर्कता बरतना ही इस प्रकार की प्राकृतिक आपदा से सुरक्षित रहने का सबसे अच्छा तरीका है।